सोलन (एमबीएम न्यूज): समूचे प्रदेश में घूसखोर आरटीओ मोहन लाल मेहता की कथित करतूत चर्चा में है। कमाल देखिए, रिश्वत के आरोप में गिरफ्तार आरटीओ को इसी साल नवंबर महीने में सेवानिवृत होना है। सूत्र बताते हैं कि विजीलेंस इस बात की भी जांच कर सकती है कि क्या मेहता अपने बगुवाल स्थित आवास पर मल्टी स्टोरी भवन का निर्माण कर रहे हैं या नहीं। उनका कोई फार्म हाऊस भी है या नहीं।
चर्चा है कि जांच के दौरान कई परतें उधड़ सकती हैं। घूसखोर मेहता मूलत: बरोटीवाला के नजदीक बगुवाल के रहने वाले हैं। दो साल पहले सोलन में तैनाती हुई थी, इससे पहले मेहता मंडी में भी इसी पद पर तैनात रह चुके हैं। सोलन में काम संभालने के बाद मेहता परवाणु के सेक्टर-6 स्थित सहायक आयुक्त के आवास में रहने लगे, लेकिन जब उच्चाधिकारियों द्वारा दखल दी गई, तब जाकर कथित घूसखोर आरटीओ साहब ने आवास को खाली किया था। आवास खाली न होने की वजह से सहायक आयुक्त परवाणु को चंडीगढ़ से डयूटी करनी पड़ रही थी।
इसी सेक्टर में मेहता ने एक मकान किराए पर ले रखा था, जहां भी वह रहता था। उधर विजीलेंस की टीम बुधवार को आरटीओ कार्यालय में भी पहुंची। रिकॉर्ड को कब्जे में लिया गया है। साथ ही परवाणु स्थित आवास की तलाशी ली जा रही है। विभाग की इस कार्रवाई से कई विभागों में हडकंप मचा हुआ है। उधर आरोपी को आज सोलन की अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे तीन दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा गया है।
बताया जा रहा है कि आरटीओ के खिलाफ कई शिकायतें थी, लेकिन कोई शिकायत करने का साहस नहीं जुटा पा रहा था। आखिर में कसौली के रोहित शर्मा ने आरटीओ का पूरा चिटठा पहले विजीलेंस के सामने खोला, जिसके बाद गोपनीय तरीके से ऐसा जाल बिछाया गया कि पिछली रात कथित घूसखोर आरटीओ विजीलेंस के शिकंजे में आ गया।
उधर विजीलेंस की डीएसपी श्वेता ठाकुर ने कहा कि आरोपी को तीन दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा गया है।