शिमला (शैलेंद्र कालरा): जहां हर कदम पर मौत का साया है, लेकिन दबंग इरादों से देवभूमि का लाल अपनी जिम्मेदारी को निभा रहा है। उस धरती पर बेटे ने काबलियत का डंका बजाते हुए देश के सबसे युवा पुलिस महानिदेशक बनने का गौरव हासिल किया है। जी हां, यहां बात हो रही है 50 साल के आईपीएस अधिकारी रूपिन शर्मा की, जिन्होंने 24 नवंबर को नागालैंड में बतौर पुलिस महानिदेशक कार्यभार संभाला है।
1992 बैच के आईपीएस अधिकारी रूपिन शर्मा मूलत: धर्मशाला के सिविल लाईन्स के रहने वाले हैं। पिता केसी शर्मा रिटायर्ड आईएएस अधिकारी हैं। खंगालने पर पता चला कि देश के नामी आईपीएस अधिकारी केपीएस गिल 53 साल की उम्र में पुलिस महानिदेशक बने थे। मगर देवभूमि के लाल ने यह रूतबा 50 साल की उम्र में हासिल किया है। हर कोई इस बात से वाकिफ है कि नागालैंड में एक पुलिस अधिकारी को किस तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।
25 साल की सेवाओं के दौरान आईपीएस रूपिन शर्मा ने नागालैंड में कई मर्तबा मौत को करीब से देखा। बावजूद इसके हिम्मत से वहीं डटे हुए हैं। 2005 में जब उन्हें धमकियां मिली तो केंद्र सरकार ने अपने स्तर पर ही आईपीएस रूपिन शर्मा को प्रतिनियुक्ति पर दिल्ली बुला लिया था। नागालैंड की ऐसी परिस्थितियां हैं, जहां कोई भी अधिकारी नहीं रहना चाहेगा। पुलिस महानिदेशक बनने से पहले आईपीएस रूपिन ने नागालैंड में जेल सुधार के कई चर्चित कार्यक्रम भी चलाए। हिमाचल विश्वविद्यालय से स्नातक करने के बाद पीयू में पढ़ाई पूरी की। इसके बाद माता-पिता के सपनों को पंख लगाते हुए भारतीय पुलिस सेवा में अपने कैरियर की पारी शुरू कर दी।
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आतंक प्रभावित नागालैंड में हिंसा सामान्य है। हिमाचली बेटा रूपिन भारत सरकार के स्पेशल ब्यूरो के कमीश्नर के तौर पर मुंबई में भी सेवाएं दे चुका है। पुलिस महानिदेशक के पद पर रूपिन की तैनाती उस वक्त हुई, जब तत्कालीन पुलिस महानिदेशक एलएल दोंगुल वापस अपने होम कैडर पश्चिम बंगाल चले गए, क्योंकि उनकी तीन साल में नागालैंड में प्रतिनियुक्ति पूरी हो रही थी।
बहरहाल यह तय है कि आईपीएस रूपिन शर्मा रियल लाइफ के सिंघम हैं, जो नागालैंड में हर पल खतरों से खेलते हुए अपनी जिम्मेदारी को बखूबी निभाने का प्रयास कर रहे हैं। हालात यह भी हैं कि नागालैंड की राजधानी कोहिमा में परिवार को साथ रखना भी मुनासिब नहीं होता।
एमबीएम न्यूज नेटवर्क से विशेष बातचीत करते हुए नागालैंड के पुलिस महानिदेशक रूपिन शर्मा ने कहा कि अब तक 25 साल के कैरियर में लगभग आधा समय नागालैंड में ही बिताया है। उन्होंने कहा कि उनक जीवन के ये सुनहरी पल थे, जब उन्हें पुलिस महानिदेशक की जिम्मेदारी मिली।